Saturday, 3 December 2022

व्यंग्य - पोषम पा का नया संस्करण, नईदुनिया 04.12.2022

4 comments:

  1. बंधु ओम वर्मा जी, आपके व्यंग्य पाठकों के सेहत के लिए कारगर होते हैं। इनसे दिमागी कसरत और दिल की मरम्मत होती है चूंकि
    दुनिया दहशतगर्दी पर तुली है और विचारवानों को सूझबूझ की कड़ी आवश्यकता है।

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    1. ओम वर्मा26 March 2023 at 03:02

      बहुत बहुत आभार मान्यवर!

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  2. वाह!क्या धारदार शब्दचित्र खींचा है महाधूर्त और उसकी मंडली के कारनामों के एक नमूने का! अगला भी इतनी मोटी खाल का है कि अभी तक ऐसा व्यवहार कर रहा है जैसे उस पर इसका कोई असर न हो।लेकिन इसका गुब्बारा निकट भविष्य फूट जाए तो कोई आश्चर्य नहीं होगा

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  3. ओम वर्मा26 March 2023 at 03:01

    बहुत बहुत आभार मान्यवर!

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